
ऋषिकेश (राव शहजाद ) । वर्ल्ड ट्रॉमा वीक -2025 के अंतर्गत अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स), ऋषिकेश के डिपार्टमेंट ऑफ ट्रॉमा सर्जरी एंड क्रिटिकल केयर के तत्वावधान में विभिन्न क्षेत्रों में जनजागरूकता कार्यक्रमों की आयोजन किया जा रहा है, इसी श्रंखला में संस्थान में रक्तदान शिविर एवं समीपवर्ती विभिन्न शिक्षण संस्थानों में स्वास्थ्य जागरूकता मुहिम का आयोजन किया गया। संस्थान की निदेशक एवं सीईओ प्रोफेसर डॉ. मीनू सिंह की देखरेख में विश्व आघात सप्ताह वर्ल्ड ट्रॉमा वीक के तहत आयोजित रक्तदान शिविर का एम्स के ट्रॉमा सर्जन डॉ. मधुर उनियाल, ब्लड बैंक फेकल्टी सदस्य डॉ. दलजीतकौर, डॉ. आशीष जैन, ट्रॉमा विभाग की फेकल्टी सदस्य डॉ. रूबी कटारिया, डॉ. नीरज कुमार एवं मुख्य नर्सिंग अधिकारी डॉ. अनीता रानी ने संयुक्तरूप से रिबन काटकर शुभारंभ किया गया। शिविर में संस्थान के विभिन्न विभागों ने बढ़चढ़कर प्रतिभाग किया, इस अवसर पर नर्सिंग ऑफिसर्स, सीनियर नर्सिंग ऑफिसर्स, एमआरसी, क्लेरिकल स्टाफ तथा अन्य कर्मचारियों महादान में अपना योगदान दिया। इस दौरान लगभग 40 यूनिट रक्त एकत्रित किया गया। इस अवसर पर अपने संदेश में संस्थान की निदेशक प्रो. (डॉ.) मीनू सिंह ने कहा कि “रक्तदान एक महान मानवीय कार्य है। यह न केवल जीवन बचाता है बल्कि समाज में एकजुटता और करुणा का प्रतीक भी है। एम्स ऋषिकेश समाज के स्वास्थ्य और आपात सेवाओं को सशक्त बनाने हेतु निरंतर प्रतिबद्ध है। ट्रॉमा सर्जरी विभाग के डॉ. मधुर उनियाल ने कहा कि “ट्रॉमा के समय सही प्राथमिक उपचार और समय पर रक्त की उपलब्धता, दोनों ही जीवन बचाने में अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। यह रक्तदान शिविर इसी भावना का प्रतीक है।
मुख्य नर्सिंग अधिकारी डॉ. अनीता रानी ने कहा कि शिविर में“हमारे स्टाफ ने उत्साहपूर्वक रक्तदान कर मानवता के प्रति अपनी जिम्मेदारी निभाई है। प्रत्येक रक्तदाता किसी के जीवन की नई आशा है लिहाजा रक्तदान ही सच्चा महादान है। रक्तदान शिविर में जनसामान्य को “रक्तदान – जीवन का सबसे बड़ा उपहार।”, “आपका एक यूनिट खून, किसी की पूरी ज़िंदगी।”,“रक्तदान करें, मानवता निभाएं।”,“रक्त ही जीवन है — इसे बांटिए, बचाइए।”आदि स्लोगनों के माध्यम से जीवन बचाने के लिए महादान के लिए प्रेरित किया गया। इस अवसर पर रक्तदाताओं को संस्थान की ओर से प्रमाणपत्र एवं स्मृति चिह्न भेंट कर सम्मानित किया गया। शिविर के आयोजन में आयोजन समिति में डी.एन.एस. अमित कुमार सैनी, असिस्टेंट नर्सिंग सुपरिटेंडेंट अमर, सीनियर नर्सिंग ऑफिसर्स दिनेश लुहार, वरुण, अखिलेश उनियाल, सुश्री सरस्वती, श्री दीपेन्द्र तथा नर्सिंग ऑफिसर्स शशिकांत, सुश्री गीतांजलि, सुश्री ललिता सहित एम्स संस्थान के अन्य कार्मिकों ने अहम योगदान दिया। वही विश्व आघात सप्ताह के तहत एम्स ऋषिकेश की ट्रॉमा टीम द्वारा M.I.T. ढालवाला, NDS श्यामपुर एवं SDM आदि विद्यालयों में स्कूल हेल्थ अवेयरनेस कार्यक्रम आयोजित किए गए। इस दौरान आपातकालीन ट्रॉमा प्रबंधन की तकनीकों स्पाइन स्टैबिलाइजेशन, सर्वाइकल कॉलर लगाना, लॉग रोलिंग, स्पाइन बोर्ड एप्लीकेशन एवं बेसिक लाइफ सपोर्ट (BLS) का लाइव प्रदर्शन किया गया। साथ ही विद्यार्थियों और शिक्षकों को हैंड्स-ऑन ट्रेनिंग के माध्यम से जीवनरक्षक उपाय सिखाए गए। मौके पर एम्स ट्रॉमा टीम में डॉ. शांतम पोखरियाल, सीनियर नर्सिंग ऑफिसर मिसेज दीपिका कांडपाल, सुश्री निशा, सुश्री शीला, सुश्री ऊषा, सुश्री अल्का, सुश्री तरन्नुम, सुश्री आरती, वनेपाल एवं तारा चंद शामिल रहे।